रविवार को पीएम मोदी ने रोहिणी में करीब 11 हजार करोड़ रुपये की दो बड़ी राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं का उद्घाटन किया। इनमें द्वारका एक्सप्रेसवे का दिल्ली सेक्शन और अर्बन एक्सटेंशन रोड-2 (यूईआर-2) शामिल हैं। इन परियोजनाओं का मकसद दिल्ली में ट्रैफिक जाम कम करना और कनेक्टिविटी को बेहतर बनाना है।
यूईआर-2 बनेगा दिल्ली का तीसरा रिंग रोड
प्रधानमंत्री ने 76 किलोमीटर लंबे अर्बन एक्सटेंशन रोड-2 का उद्घाटन किया। इसे दिल्ली का तीसरा रिंग रोड कहा जा रहा है जिसकी लागत लगभग 6,445 करोड़ रुपये है। यह सड़क महिपालपुर से अल्लीपुर को जोड़ेगी और दिल्ली से गुजरने वाले भारी ट्रैफिक को डायवर्ट कर देगी। इस प्रोजेक्ट में पांच पैकेज हैं जिनमें से चार आज से चालू हो गए।
द्वारका एक्सप्रेसवे की खासियत
इसके साथ ही 29 किलोमीटर लंबे द्वारका एक्सप्रेसवे के दिल्ली हिस्से का भी उद्घाटन किया गया। इसमें 10.1 किलोमीटर का हिस्सा दिल्ली में है जिसमें 5.1 किलोमीटर लंबी टनल बनाई गई है जो सीधे आईजीआई एयरपोर्ट से जुड़ती है। यह दिल्ली-गुरुग्राम मार्ग पर बोझ कम करेगा और यात्रियों को हवाई अड्डे तक तेज़ और आसान पहुंच दिलाएगा।
ट्रैफिक जाम से मिलेगी राहत
एनएचएआई अधिकारियों का कहना है कि इन दोनों सड़कों से एनएच-48, एनएच-44 और बारापुल्ला फ्लाईओवर पर भीड़ काफी कम होगी। नोएडा से आईजीआई एयरपोर्ट की यात्रा का समय घटेगा और दिल्ली-एनसीआर के लाखों लोगों को इसका सीधा फायदा मिलेगा। साथ ही यह नया मार्ग हरियाणा, राजस्थान, उत्तराखंड और पंजाब जाने वालों के लिए भी आसान और तेज सफर उपलब्ध कराएगा।
पर्यावरण के लिए भी अहम कदम
यूईआर-2 को सस्टेनेबल तरीके से बनाया गया है। इसके निर्माण में करीब 10 लाख मीट्रिक टन मलबे का इस्तेमाल किया गया जो दिल्ली के पुराने लैंडफिल्स से बायो-माइनिंग के जरिए निकाला गया। भविष्य में यह सड़क दिल्ली-देहरादून, दिल्ली-Meerut, यमुना एक्सप्रेसवे और एनसीआर के अन्य एक्सप्रेसवेज से जुड़ेगी जिससे यह पूरे क्षेत्र के लिए ट्रांसपोर्ट का बड़ा नेटवर्क बन जाएगी।